धम्मपद – यमकवग्गो – 6

परे च न विजानन्ति मयमेत्य यमामसे।

ये च तत्थ विजानन्ति ततो सम्मन्ति मेधगा ।६॥

हिन्दी अर्थ

अज्ञ लोग नहीं विचारते कि हम इस संसार में नहीं रहेंगे; जो विचारते हैं उन (पण्डितों) का वैर शान्त हो जाता है ।

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